पौने दो घंटे के भाषण में पीएम मोदी ने कांग्रेस को जमकर धोया,जय श्री राम से किया भाषण सुरु

नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को राष्ट्रपति अभिभाषण पर लोकसभा में धन्यवाद प्रस्ताव पर हो रही चर्चा का जवाब दिया। अपने भाषण के शुरू में पीएम मोदी ने कहा कि इस बार मैं धन्यवाद के साथ-साथ राष्ट्रपति जी का अभिनंदन भी करना चाहता हूं। गणतंत्र के मुखिया के रूप में उनकी उपस्थिति ऐतिहासिक तो है ही, देश की कोटि-कोटि बेटियों के लिए यह बहुत बड़ा प्रेरणा का अवसर भी है।
पीएम ने राहुल गांधी पर साधा निशाना 
पीएम मोदी ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी का नाम लिए बिना उनपर निशाना साधा। पीएम मोदी ने कहा, यहां चर्चा में हर किसी ने अपने अपने आकड़ें और तर्क दिए… अपनी रूचि, प्रवृति और प्रकृति के अनुसार अपनी बातें रखी और जब इन बातों को समझने का प्रयास करते हैं तो यह भी ध्यान में आता है कि किसकी कितनी क्षमता, योग्यता और इरादा है। देश इन सभी का मूल्यांकन करता है।
पीएम मोदी ने कहा, मैं कल देख रहा था। कुछ लोगों के भाषण के बाद कुछ लोग खुशी से उछल रहे थे। वे कह रहे थे ये हुई ना बात। उन्हें अच्छी नींद भी आई होगी। आज समय से उठ भी नहीं पाए होंगे। उनके लिए कहा गया है कि ये कह के हम दिल को बहला रहे हैं, वो अब चल चुके हैं, वो अब आ रहे हैं। पीएम मोदी ने कहा, जनजातीय समुदाय के प्रति नफरत भी दिखाई दी है और हमारे जनजातीय समाज के प्रति उनकी सोच क्या है, लेकिन जब इस प्रकार की बातें टीवी के सामने कही गईं तो भीतर पड़ा हुआ जो नफरत का भाव था, वो सच बाहर आ ही गया। अपने भाषण में पीएम ने कहा, राष्ट्रपति जी का भाषण हो रहा था तो कुछ लोग कन्नी भी काट गए। एक बड़े नेता महामहिम राष्ट्रपति जी का अपमान भी कर चुके हैं। राष्ट्रपति जी ने अपने भाषण में कहा था, जो भारत अपनी अधिकांश समस्याओं के लिए दूसरों पर निर्भर था, वो आज दुनिया की समस्याओं के समाधान का माध्यम बन रहा है। पीएम ने कहा, जब राष्ट्रपति जी के भाषण पर चर्चा मैं सुन रहा था, तो मुझे लगा कि बहुत सी बातों को मौन रहकर स्वीकार किया गया है। यानी, राष्ट्रपति जी के भाषण के प्रति किसी को ऐतराज नहीं है।
पीएम मोदी ने कहा, राष्ट्रपति जी ने यह भी कहा था… देश की एक बड़ी आबादी ने जिन सुविधाओं के लिए दशकों तक इंतजार किया, वे इन वर्षों में उसे मिलीं।  देश सरकारी योजनाओं में भ्रष्टाचार की समस्याओं से मुक्ति चाहता था, वो मुक्ति उसे अब मिल रही है। उन्होंने कहा, सदन में हंसी-मजाक, टीका-टिप्पणी, नोंक-झोंक होती रहती है, लेकिन हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि आज राष्ट्र के रूप में गौरवपूर्ण अवसर हमारे सामने खड़े हैं। गौरव के क्षण हम जी रहे हैं।