
राजस्थान खबर:-दौसा जिले के बांदीकुई कस्बे में एक तरफ इंसानियत को शर्मसार करने वाली तस्वीर दिखी तो दूसरी तरफ इंसान के रूप में 3 देवदूत भी सामने आए। यहां गांधी पार्क के गेट के पास सोमवार को एक नवजात झाड़ियों में मिला।
तेज धूप में पड़े बच्चे के मुंह में चींटियां भरी थीं। चींटियां बच्चे की जीभ और होंठ को काट रही थीं। इस बीच तीन दोस्त विक्की प्रजापत (17), संजय मीणा (18) और अजीत बैरवा (17) बांदीकुई स्टेशन की तरफ जा रहे थे। बच्चे के रोने की आवाज सुनकर पहुंचे और उसे अस्पताल पहुंचाया।
तीन दोस्तों को बच्चा झाड़ियों में मिला। तीनों ने उसे हॉस्पिटल पहुंचाया। बच्चा अब सुरक्षित है।
उन्हें गांधी पार्क के गेट के पास झाड़ियों से नवजात के कराहने की आवाज आई। तीनों झाड़ियों तक पहुंचे तो बच्चे के शरीर को चींटियां काट रही थीं।
बिना वक्त गंवाए उन्होंने बच्चे को गोद में उठाया। रुमाल से उसका चेहरा और शरीर साफ किया। मुंह और होंठों पर लगी चींटियां हटाईं और बांदीकुई राजकीय हॉस्पिटल लेकर पहुंच गए।
जहां बच्चा मिला था, वहां तीनों लड़कों के साथ जांच-पड़ताल कर रही है पुलिस।
भूख और दर्द से तड़प रहा था बच्चा
बांदीकुई हॉस्पिटल के नर्सिंग ऑफिसर महेंद्र मीणा ने बताया- लड़के नवजात को लेकर आए तब भी बच्चे के शरीर पर चींटियां चिपकी थीं। बच्चा दर्द और भूख से तड़प रहा था। मेडिकल स्टाफ ने बच्चे के शरीर और मुंह से सारी चींटियां हटाईं और दूध मंगाकर बच्चे को पिलाया। दूध पीकर बच्चे ने रोना बंद कर दिया।
बच्चे के मुंह पर गहरा घाव
बांदीकुई हॉस्पिटल में शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. एसके सोनी ने बताया- झाड़ियों में मिला बच्चा करीब 7 दिन का है। यह लड़का है। चींटियों के काटने से बच्चे के मुंह पर गहरा घाव हो गया है। शरीर पर भी कुछ जगह रगड़ने के निशान हैं। फिलहाल बच्चे की हालत में सुधार दिख रहा है।