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Rajasthan: बीकानेर में भाजपा विधायक का दिखा जमकर विरोध, युवा बोले- गांव में नहीं मिलेगी एंट्री, MLA ने कहा- 'मुझे जवाब बर्दाश्त नहीं है'
 

विरोध का कारण कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं, बल्कि गांव की बदहाल सड़कें (Broken Roads) थीं. गुस्साई भीड़ ने विधायक के सामने जमकर नारेबाजी की, जिसके बाद विधायक ने भी तीखे तेवर दिखाए.

 

Rajasthan News: राजस्थान के बीकानेर जिले में बुधवार शाम एक अनोखा और तनावपूर्ण वाकया देखने को मिला. श्रीडूंगरगढ़ तहसील के मोमासर गांव में एक रक्तदान शिविर में पहुंचे स्थानीय विधायक ताराचंद सारस्वत (Tarachand Saraswat) का ग्रामीणों ने तीखा विरोध किया. विरोध का कारण कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं, बल्कि गांव की बदहाल सड़कें (Broken Roads) थीं. गुस्साई भीड़ ने विधायक के सामने जमकर नारेबाजी की, जिसके बाद विधायक ने भी तीखे तेवर दिखाए.

मोमासर, आड़सर और जोरावरपुरा गांवों को जोड़ने वाली सड़क लंबे समय से जर्जर हालत में है. ग्रामीण और युवा कई बार प्रशासन और जनप्रतिनिधियों से इस सड़क के निर्माण की गुहार लगा चुके हैं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई. इसी बात से नाराज होकर युवाओं ने एक अनोखा विरोध आंदोलन शुरू किया था. उन्होंने यह तय किया था कि जब तक सड़क का काम शुरू नहीं होता, वे किसी भी जनप्रतिनिधि को गांव में घुसने नहीं देंगे.Rajasthan News

बुधवार को विधायक ताराचंद सारस्वत जैसे ही गांव के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) में आयोजित रक्तदान शिविर में पहुंचे, उनका सामना इस आंदोलन से हो गया. गुस्साए युवाओं ने तुरंत उन्हें घेर लिया और सड़क निर्माण में हो रही देरी पर सवाल उठाना शुरू कर दिया. युवाओं का कहना था कि नेता वोट मांगने तो आते हैं, लेकिन समस्याओं पर कोई ध्यान नहीं देते.

विरोध के दौरान स्थिति उस समय और बिगड़ गई, जब विधायक ताराचंद सारस्वत ने भी आपा खो दिया. उन्होंने भड़के हुए लहजे में युवाओं से कहा, 'मुझे जवाब मत दो, मुझे जवाब बर्दाश्त नहीं है.' विधायक के इस बयान ने आग में घी का काम किया और माहौल और अधिक गरम हो गया.

स्थिति को बिगड़ता देख उप-प्रशासक जुगराज संचेती ने युवाओं को शांत करने की कोशिश की, लेकिन बात नहीं बनी. आखिरकार, पुलिस उपाधीक्षक (DSP) निकेत पारीक को मौके पर आकर मोर्चा संभालना पड़ा. उनके हस्तक्षेप के बाद ही किसी तरह माहौल शांत हुआ और मामला नियंत्रण में आया.Rajasthan News

घटना के बाद भी युवाओं का रुख साफ है. उन्होंने चेतावनी दी है कि जब तक सड़क निर्माण का काम शुरू नहीं हो जाता, तब तक गांव में किसी भी राजनीतिक व्यक्ति का प्रवेश वर्जित रहेगा. वे सड़क को लेकर अपना आंदोलन जारी रखेंगे और जनप्रतिनिधियों का घेराव करते रहेंगे.Rajasthan News